Last updated on : 30 Sep, 2025
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पेट दर्द एक आम समस्या है, जो गैस, कब्ज, अपच या संक्रमण जैसी स्थितियों के कारण हो सकता है। यह हल्का भी हो सकता है और कभी-कभी इतना तेज़ भी कि दैनिक जीवन प्रभावित हो जाए। कई लोग तुरंत राहत के लिए घरेलू उपाय अपनाते हैं।
इस लेख में हम पेट दर्द से राहत दिलाने वाले कुछ सुरक्षित और पारंपरिक घरेलू उपाय जानेंगे, साथ ही यह भी समझेंगे कि कब डॉक्टर से सलाह लेना जरूरी है।
पेट दर्द के लिए कई प्रभावी घरेलू उपाय होते हैं जिन्हें अपनाकर आप राहत पा सकते हैं। इन उपायों का पालन करके आप पेट दर्द से आसानी से छुटकारा पा सकते हैं:
ध्यान रखें: ये उपाय केवल हल्के पेट दर्द में मदद कर सकते हैं। लगातार या तेज़ दर्द होने पर डॉक्टर से संपर्क करें।
हींग का उपयोग पारंपरिक रूप से पेट संबंधी समस्याओं में किया जाता रहा है। इसमें पाए जाने वाले यौगिक जैसे फेरुलिक एसिड ऐंटीस्पास्मोडिक प्रभाव दे सकते हैं, जो आंतों की ऐंठन और गैस को कम करने में मदद कर सकते हैं अध्ययन के अनुसार गुनगुने पानी में एक चुटकी हींग मिलाकर लेने से अपच और हल्के पेट दर्द में आराम मिल सकता है।
पेट दर्द, गैस, मरोड़ और अपच जैसी समस्याओं के लिए जायफल और नींबू का पारंपरिक उपयोग किया जाता है। जायफल में माइरिस्टिसिन और नींबू में सिट्रिक एसिड जैसे सक्रिय तत्व होते हैं, जो पाचन तंत्र को सहारा देने और गैस, मरोड़, और अपच जैसी समस्याओं से राहत देने में सहायक हो सकते हैं, जैसा कि Qureshi (2021) के अध्ययन में बताया गया है
काला नमक पेट दर्द और गैस के लिए एक पारंपरिक घरेलू उपाय है। इसे पानी में मिलाकर पीने से पाचन तंत्र को सहारा मिल सकता है और गैस व सूजन से राहत मिल सकती है, जैसा कि कुछ अध्ययन में देखा गया है। हालांकि, अत्यधिक काला नमक का सेवन उच्च सोडियम स्तर को बढ़ा सकता है, इसलिए इसे सीमित मात्रा में लेना चाहिए।
अजवाइन पेट दर्द और गैस के लिए एक पारंपरिक उपाय है। इसे चबाकर या पानी में मिलाकर पीने से पाचन तंत्र को आराम मिल सकता है और पेट दर्द में राहत मिल सकती है। अजवाइन में ऐंटीस्पास्मोडिक, कार्मिनेटिव और पाचक गुण पाए जाते हैं, जो पाचन समस्याओं के प्रबंधन में सहायक हो सकते हैं, जैसा कि कुछ अध्ययन में पाया गया है। हालांकि, इसे अत्यधिक सेवन करने से गैस्ट्रिक समस्याएं उत्पन्न हो सकती हैं, इसलिए सीमित मात्रा में इसका सेवन करना चाहिए।
हरड़ का सेवन पेट दर्द को कम करने में मदद कर सकता है। यह पारंपरिक रूप से पाचन क्रिया के समर्थन में उपयोग की जाती रही है | । हरड़ में मौजूद घटक जैसे टैनिन्स (विशेषतः चीब्यूलिक एसिड, चीब्यूलिन, कोरिलैगिन), गैलिक एसिड, और फ्लावोनॉइड्स पाचन स्वास्थ्य को समर्थन देने में सहायक हो सकते हैं। इन यौगिकों में माइल्ड लैक्सेटिव, ऐंटीस्पास्मोडिक और एंटीऑक्सिडेंट गुण पाए जाते हैं, जो पारंपरिक रूप से पेट दर्द, अपच और गैस जैसी स्थितियों के प्रबंधन में उपयोग किए जाते हैं।
पुदीना पेट दर्द को शांत करने में मदद कर सकता है। इसकी चाय पीने से पेट में आराम मिलती है। पुदीना का प्रमुख घटक पेपरमिंट ऑयल पाचन तंत्र की मांसपेशियों को शिथिल करने में सहायक हो सकता है, जिससे पेट दर्द, गैस और फुलाव जैसे लक्षणों को प्रबंधित करने में मदद मिल सकती है। हालांकि, कुछ व्यक्तियों में यह अम्लता या एसिड रिफ्लक्स की स्थिति को बढ़ा सकता है।
सूखी अदरक का पाउडर पेट के दर्द को कम करने के लिए उपयोगी माना जाता है। यह पाचन क्रिया को बेहतर बनाता है और गैस की समस्या को दूर करता है। सूखी अदरक में मौजूद सक्रिय घटक जैसे जिंजेरोल, और ज़िंजेबेरोन पाचन तंत्र की गतिविधियों को संतुलित करने में सहायक हो सकते हैं। इन यौगिकों में ऐंटीस्पास्मोडिक, कार्मिनेटिव और एंटीइंफ्लेमेटरी गुण पाए जाते हैं, जो पेट दर्द, ऐंठन और गैस जैसी समस्याओं में सहायक हो सकते हैं।
लहसुन का रस पेट में गैस और अपच जैसी समस्याओं को कम करने में सहायक हो सकता है। लहसुन में पाया जाने वाला एल्लीसिन पेट की मांसपेशियों को आराम देने और दर्द में राहत प्रदान करने में मदद कर सकता है। हालांकि, अत्यधिक लहसुन का सेवन गैस्ट्रिक परेशानियां उत्पन्न कर सकता है, इसलिए इसे सीमित मात्रा में लेना चाहिए।
नींबू का रस पेट दर्द और अम्लता के लिए एक पारंपरिक उपाय है। यह पेट के अम्लता को संतुलित करने में सहायक हो सकता है और दर्द में राहत प्रदान करने में मदद कर सकता है। हालांकि, अत्यधिक सेवन से अम्लता की समस्या बढ़ सकती है, इसलिए इसे सीमित मात्रा में लेना चाहिए।
पेट दर्द एक सामान्य समस्या है लेकिन इसके लिए कई घरेलू उपाय उपलब्ध हैं जो प्रभावी हो सकते हैं। इन उपायों को अपनाकर आप पेट दर्द से जल्दी राहत पा सकते हैं। हालांकि, अगर दर्द लगातार या गंभीर हो तो डॉक्टर से सलाह लेना जरूरी है। पेट दर्द के कारणों को पहचानकर सही सुझाव अपनाना अत्यंत आवश्यक है।
“परंपरागत चिकित्सा पद्धतियों के अनुसार पेट दर्द अक्सर पाचन अग्नि (अग्नि) की असंतुलन या शरीर में विषाक्त पदार्थों के संचय से जुड़ा होता है। हींग, सौंफ, अदरक और अजवाइन जैसे औषधीय पौधे लंबे समय से पाचन संबंधी असुविधा को प्रबंधित करने के लिए उपयोग किए जाते रहे हैं, क्योंकि ये गैस्ट्रिक गतिशीलता को सहारा देने और गैस व फुलाव से राहत दिलाने में मदद कर सकते हैं। हालांकि ये उपचार पारंपरिक रूप से उपयोग किए जाते हैं, इनका उपयोग हमेशा व्यक्तिगत स्वास्थ्य स्थिति के अनुसार और किसी योग्य वैद्य या चिकित्सक की देखरेख में किया जाना चाहिए।”
Dr. Kavya Rejikumar
पेट दर्द में राहत के लिए गर्म पानी पीना और हल्की पेट की मालिश करना सहायक हो सकता है। इन उपायों से पाचन तंत्र को आराम मिल सकता है, लेकिन यदि दर्द लगातार हो तो डॉक्टर से परामर्श लें।
पेट दर्द में राहत के लिए हींग, अजवाइन, और नींबू का रस का उपयोग पारंपरिक रूप से किया जाता है। इन पदार्थों में पाचन को सहारा देने वाले गुण हो सकते हैं, जो पेट दर्द और गैस से राहत दिलाने में मदद कर सकते हैं।
पेट में दर्द होने पर हल्के और पचने में आसान खाद्य पदार्थ, जैसे सूप, दलिया, और केला, पाचन तंत्र को आराम देने में मदद कर सकते हैं। इन खाद्य पदार्थों का सेवन आंतों पर कम दबाव डालता है, जिससे पेट दर्द में राहत मिल सकती है।
लैट्रिन की जगह दर्द (गैस दर्द) होने पर अजवाइन और नींबू का रस पाचन में सहायक हो सकते हैं। ये पारंपरिक उपाय गैस और सूजन से राहत देने में मदद कर सकते हैं, लेकिन अगर दर्द गंभीर हो तो डॉक्टर से सलाह लेना ज़रूरी है।
पेट में मरोड़ होने पर हल्के और पचने में आसान आहार जैसे सूप, दलिया, या उबला हुआ चावल खाने से पाचन तंत्र को आराम मिल सकता है। इन खाद्य पदार्थों का सेवन पेट को शांत रखने में मदद कर सकता है, लेकिन अगर मरोड़ लगातार या तेज़ हो तो डॉक्टर से परामर्श करना आवश्यक है।
पेट का दर्द आमतौर पर गैस, अपच, या पेट में सूजन जैसे पाचन संबंधित मुद्दों का संकेत हो सकता है। हालांकि, यह कभी-कभी अन्य स्वास्थ्य समस्याओं का भी संकेत हो सकता है, इसलिए यदि दर्द लगातार या गंभीर हो, तो डॉक्टर से परामर्श लेना ज़रूरी है।
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